Friday, March 4, 2011

My Wish....

मेरी कोशिश है कि ना भूल जाऊं तुम्हे,
मेरी चाहतों कि तो लिस्ट है बहुत लम्बी,
मन है कि ये लिस्ट पढ़कर  सुनाऊँ मैं तुम्हे,
अगर मैं धीरे से बोलूं उन मदों का नाम,
जिनको सुनकर के दुनिया कट सी जाती है मुझसे,
चाहो तो तुम्ह भी कह दो कि ये मुमकिन नहीं देना,
वादा हैं कि दीपक ये फिर ना याद दिलाएगा तुम्हे,
मगर यूँ ना तडपाओ, तुझे तेरी रहमतों का वास्ता,
देना मुझे तब तक, मेरी अंतिम फ़रियाद हो तब तक,
लगता है नहीं पहुँच रही मेरी आवाज तुझ तक,
या फिर से आवाज देकर जगाऊँ मैं तुम्हे,
एक बार कह दो कि दीपक आ शुरू कर तेरी लिस्ट,
पहली फ़रियाद को अब तलक इन्तेजार हैं तेरी रहमतों का,
गर पूरी हुई हो तो दूसरी अब सुनाऊँ मैं तुम्हे,
कोशिश ये भी है कि जल्दी से पूरी करूँ इन चाहतों को,
कोशिश ये भी है कि खुद से पहले ना भूल जाऊं मैं तुम्हे,
लगता तुम तो भूल ही गए हो भेजकर हमें यहाँ मेरे मालिक,
सोच रहा हूँ कि कैसे अपनी याद मैं दिलाऊँ तुम्हे,
ये सच है कि मैं याद करता हूँ तुमको मगर,
हमेंशा सोचता हूँ कि कैसे यकीन दिलाऊँ मैं तुम्हे ||

                                 :- दीपक प्रधान

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